देवरिया टाइम्स। आचार्य व्यास मिश्र स्मृति देवरिया महोत्सव समिति द्वारा विश्व हिंदी दिवस के अवसर पर देवरिया जनपद के हिंदी के प्रख्यात लेखक 1956 से लगातार हिंदी साहित्य के लिये कार्य किया है। उन्होंने बोध का विद्रोह , परिवेश के बिंदु, कोहरे का सूरज , प्रगति चेतना के समकालीन कवि दर्जनों पत्र पत्रिकाओं में अपनी सेवा देने वाले अंचल भारती पत्रिका के पूर्व सम्पादक जयनाथ मणि जी को स्मृति चिन्ह और अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया।

समिति के अध्यक्ष पवन कुमार मिश्र ने कहा कि हिंदी भारतमाता के माथे की बिंदी है, उन्होंने कहा कि भारत में ही नहीं दुनिया भर में हिंदी के चाहने वाले मिल जाएंगे। हिंदी की लोकप्रियता को लेकर दुनियाभर में 10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस मनाया जाता है।
लेखक और कवि जयनाथ मणि ने समिति के कार्यो की सराहना करते हुए कहा कि हिंदी हमारी मातृभाषा है, इसके प्रचार-प्रसार और संरक्षण की जिम्मेदारी हम सभी भारतवासियो की है, उन्होंने कहा कि आज पूरे विश्व में हिंदी भाषी लोगो की संख्या में निरन्तर वृद्धि हो रही है।

इस अवसर पर समिति की सदस्य सिमा जायसवाल ने कहा हिंदी को विश्वव्यापी भाषा बनाने और इसके प्रति लोगों की जागरुकता बढ़ाने के इरादे से इस दिन को मनाने की शुरुआत की गई थी, हम सभी को इसके संरक्षण के लिये प्रयास करना चाहिए।
कार्यक्रम का संचालन समिति के संस्थापक सदस्य रमाशंकर तिवारी ने किया।
इस अवसर पर पवन कुमार मिश्र, सिमा जायसवाल, रमाशंकर तिवारी, हरीश त्रिपाठी, उमाकांत पांडेय,रितेश शर्मा, नसीम मंसूरी, एजाज अहमद उपस्थित रहे।